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Umar Khalid : उमर खालिद जो थे दिल्ली दंगों के सिलसिले में गिरफ्तार उनको किस वजह से मिली अंतरिम जमानत

जेएनयू के पूर्व छात्र कुमार खालिद जिनको दिल्ली के अदालत ने 2020 में दिल्ली दंगों के सिलसिलो में पुलिस ने गिरफ्तार किया था।उमर खालिद को बुधवार को 7 दोनों की अंतरिम जमानत दे दी गई है समीर बाजपेयी ने जो एक अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश है उमर को उन्होंने अपने पारिवारिक शादी में शामिल होने के लिए ये राहत की साथ दी है।2020 दिल्ली दंगों के मामलों में उमर खालिद को एक बड़ा आरोपी माना जाता है। हालांकि उमर खालिद कोर्ट में यह सब बातों को इनकार करता हैं कि दंगा भड़काने और गैरकानूनी गतिविधियां अधिनियम के तहत कोर्ट में मामला गलत दर्ज किया गया था और उसमें मेरा हाथ नहीं था।

जानिए कौन है जेएनयू के छात्रों उमर खालिद

लगभग तीन दशक पहले उमर खालिद का परिवार महाराष्ट्र के अमरावती के तालेगांव से दिल्ली आकर वही बस गया था।उमर अपने परिवार के साथ दिल्ली के जाकिरनगर गांव में रहते थे।हालांकि उन्हें किसी ने कभी शायद ही यहां दिखा होगा जानकारी के अनुसार ऐसा बताया जाता है कि उनके पिता सैयद कासिम रसूल इलियास दिल्ली में ही उर्दू की मैगजीन अफकार-ए-मिल्लि चलाते है। खालिद जेएनयू के स्कूल ऑफ सोशल साइंस से इतिहास में एचडी करते थे।

खालिद जिस डीएसयू संगठन से जुड़े हैं, उसे सीपीआई माओवादी समर्थित छात्र संगठन माना जाता है। 9 फरवरी को देश विरोधी नारे लगाने का आरोप लगने के बाद उमर खालिद अचानक गायब हो गए थे। उन्हें पकड़ने के लिए दिल्ली पुलिस ने कई जगहों पर छापेमारी की थी। जिसके बाद खबरें आई थी कि उनका संबंध आतंकी संगठन से है। ऐसी भी खबरें सामने आई थीं कि खालिद कई विश्वविद्यालयों में आतंकी अफजल गुरु का गुणगान करवाना चाहता था। जेएनयू जैसा कार्यक्रम उसने देश के 18 विश्वविद्यालयों में करने की योजना बनाई थी।

विशेष लोक अभियोजक अमित प्रसाद ने कहा

इसी साल अप्रैल में हुई सुनवाई के दौरान विशेष लोक अभियोजक अमित प्रसाद ने यह कहा था कि उमर खालिद को मोबाइल फोन और इंटरनेट के जरिए पता चला वह काफी सारे नेताओं और अभिनेताओं के साथ कई सारे राजनेताओं और कार्यकर्ताओं संपर्क बनाए रखते थे।उसने दिल्ली पुलिस के खिलाफ न्यूज़ रिपोर्टरों के द्वारा कई सारे लिंक भेजे थे।

 

क्या है अदालत के निर्देश और शर्तें

शाहदरा जिले अदालत के ।एडिशनल सेशंस जज समीर बाजपेई ने उमर खालिद को 20,000।रुपए की निजी पर्सनल मामले में जमानत दी है अदालत ने यह शर्ट लगाई है कि खालिद सिर्फ और सिर्फ अपने परिवार रिश्तेदार और दोस्तों से ही मिल सकते हैं।और सबसे बड़ी शर्ट तो यह है कि वह सोशल मीडिया का इस्तेमाल थोड़ा सा भी नहीं कर सकते हैं उमर खालिद को अपने घर और उन स्थानों पर ही रहने की इजाजत दी है जहां शादी समारोह होगा।

उत्तर-पूर्वी दिल्ली दंगो के मामला जी सिलसिले में उमर खालिद को गिरफ्तार कर दिया गया था

उमर खालिद के साथ जामिया के पूर्व छात्र नेता मीरान हैदर और सरजील इमाम खालिद सैफी के साथ और भी कई लोगों पर 2020 के दंगों के मामलों पर एक बहुत बड़ी साजिश रचने का आरोप है।उनके खिलाफ भारतीय दंड संहिता सार्वजनिक संपत्ति शक्ति निवारण अधिनियम शास्त्र और गैरकानूनी ।गतिविधियां ( UAPA) के तहत मामला दर्ज किया गया है।जब कि उनकी नियमित जमानत याचिका दिल्ली उच्च न्यायालय में मिली थी।उसकी ओर से दलील दी गयी की उसके खिलाफ 34 आरोपों में से अधिकांश उन्होंने या तो सजा पूरी कर ली है यह आदि से यह आदि से अधिक सजाव भगत त चुके हैं।

पहले भी कई सारे हादसे और विवादों में आ चुका है उमर खालिद का नाम 

जेएनयू में पढ़ने वाले छात्रों के अनुसार खालिद ने अपने कई सारे साथियों के साथ  जेएनयू कैंपस में हिंदू देवी देवताओं को अपमानजनक बड़े-बड़े तस्वीर लगाकर हिंदू देवी देवताओं में नफरत फैलाने की एक बड़ी कोशिका की थी बस यही नहीं वह उसे समारोह  में भी शामिल थे जब आंतकी की अफजल की फांसी पर जेएनयू कैंपस  में माता मनाया गया था खालिद इससे पहले कई सारे मौकों पर कश्मीर की आजादी की मांग को उठाते रहे थे।

 

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